Pahalgam Attack :- पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद देशभर में आक्रोश है। प्रधानमंत्री मोदी ने अपना विदेश दौरा अधूरा छोड़कर भारत वापसी की है। गृहमंत्री अमित शाह इस वक्त जम्मू-कश्मीर में मौजूद हैं, जबकि एनएसए अजीत डोभाल सुरक्षा गतिविधियों पर पैनी नजर रखे हुए हैं। इस हमले में 26 पर्यटकों की जान गई है।
परेड स्थल पहलगाम पर हुए आतंकवादी हमले के बाद से पूरे देश में आक्रोश की लहर दौड़ गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपना सऊदी अरब दौरा बीच में छोड़ कर तत्काल भारत लौटने का निर्णय लिया। दिल्ली एयरपोर्ट पर उनके चेहरे के हावभाव से साफ झलक रहा था कि वे बेहद व्यथित हैं। यह पहला मौका है जब अपने 11 वर्षों के कार्यकाल में उन्होंने किसी अंतरराष्ट्रीय यात्रा को बीच में रोककर वापसी की है। यह इस ओर संकेत करता है कि आने वाले कुछ घंटों में भारत कोई बड़ा फैसला ले सकता है।
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह रात भर जम्मू-कश्मीर में डटे रहे। आज प्रधानमंत्री मोदी कैबिनेट की सुरक्षा मामलों की समिति (सीसीए) की एक अहम बैठक में भाग लेंगे। राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल लगातार सेना, सुरक्षा एजेंसियों और जम्मू-कश्मीर पुलिस की हर गतिविधि पर नजर बनाए हुए हैं। गृह सचिव सीधे जम्मू-कश्मीर के डीजीपी के संपर्क में हैं। यानी हमले के तुरंत बाद से ही देश की सुरक्षा एजेंसियां और प्रशासन मिलकर बड़ी रणनीति पर काम कर रहे हैं। अब सवाल ये उठता है — अगला कदम क्या होगा?
गौरतलब है कि पुलवामा हमले के समय भी कुछ इसी तरह की तैयारियां देखने को मिली थीं। 2019 में पुलवामा में सीआरपीएफ काफिले पर हुए आत्मघाती हमले के बाद भारत ने पीओके में एयर स्ट्राइक कर आतंक के अड्डों को तबाह कर दिया था। क्या इस बार भी वैसी ही कोई जवाबी कार्रवाई होगी? मंगलवार को अमित शाह ने दिल्ली में उच्च स्तरीय बैठक की और तुरंत श्रीनगर रवाना हो गए। आईबी, रॉ, गृह सचिव और डिप्टी एनएसए समेत कई शीर्ष अधिकारी आज घाटी में हालात का जायजा लेंगे।
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पीएम मोदी की प्रतिक्रिया और रणनीति
बैसरन घाटी के ऊपरी हिस्से में सैर कर रहे सैलानियों पर अचानक अंधाधुंध गोलीबारी शुरू हो गई। आतंकियों ने लोगों से नाम, धर्म और राज्य पूछ-पूछकर निशाना बनाया। इस भयावह हमले में 26 पर्यटकों की जान गई, जबकि कई अन्य गंभीर रूप से घायल हैं। यह हाल के वर्षों में जम्मू-कश्मीर में हुआ सबसे भीषण आतंकी हमला बताया जा रहा है।
2019 के पुलवामा हमले की याद ताजा हो गई है, जिसमें 40 सीआरपीएफ जवान शहीद हुए थे। उसके बाद भारत ने 26 फरवरी को पाकिस्तान के बालाकोट में स्थित जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी कैंपों पर एयर स्ट्राइक की थी, जिसमें सैकड़ों आतंकियों को ढेर कर दिया गया था।
सोशल मीडिया पर गूंज रहा है एक ही स्वर: “बदला चाहिए”
हमले के बाद सोशल मीडिया पर जनता का गुस्सा फूट पड़ा है। हर तरफ “बदला चाहिए” की मांग की जा रही है। लोग उम्मीद कर रहे हैं कि इस बार भी सरकार किसी कड़े एक्शन से पीछे नहीं हटेगी। प्रधानमंत्री मोदी ने विदेश यात्रा छोड़कर तुरंत देश वापसी कर स्पष्ट संकेत दे दिया है कि चुप्पी की कोई जगह नहीं है।
प्रधानमंत्री के साथ राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार डोभाल भी दिल्ली लौटे हैं और एयरपोर्ट पर ही पीएम से चर्चा करते नजर आए। पीएम मोदी लगातार घटनाक्रम पर निगरानी बनाए हुए हैं और जल्द ही कैबिनेट की सुरक्षा समिति की बैठक में रणनीतिक फैसले लिए जा सकते हैं।
इस बीच ऐसी भी खबरें हैं कि अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से पीएम मोदी की चर्चा हुई है, जिन्होंने भारत को आत्मरक्षा में किसी भी हद तक जाने की स्वतंत्रता देने का समर्थन जताया है।
देशभर में जनता का गुस्सा उफान पर है और अगर आने वाले कुछ घंटों में भारत कोई बड़ा सैन्य या रणनीतिक कदम उठाए, तो यह किसी को हैरान नहीं करेगा।

Author: Suryodaya Samachar
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